Bihar Transport News धनकुबेर MVI की चालाकी का पार्ट-3, संपत्ति छुपाने में रिश्तेदारों को भी बनाया ढाल, ब्लैक-व्हाइट करने में 'तेल' का खेल तो है ही! संपत्ति बनाने-छुपाने का

Bihar Transport News Dhankuber MVI Story part 3 even used relatives as shield to hide his property Bihar Transport News Dhankuber MVI Story part 3 even used relatives as shield to hide his property
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Edited By - Admin

  • बिहार,
  •  
  • 19 November 2024,
  •  
  • अपडेटेड 05:38 PM IST

Bihar Transport News: राज्य सरकार का स्पष्ट आदेश है, सरकारी सेवकों को स्वयं या पत्नी के नाम पर अर्जित संपर्ति को छुपाना अपराध है. हाल ही में निगरानी विभाग ने सभी पत्र जारी कर सभी को अगाह भी किया है. हालांकि सूबे में संपत्ति को सार्वजनिक करना अब सिर्फ दिखावा भर रह गया है. सरकारी सेवक संपत्ति अर्जित कर रहे, हालांकि संपत्ति अर्जित करना कोई गुनाह नहीं है. गुनाह सरकार से छुपाना है.

प्रमाण चीख-चीख कर दे रही गवाही....

WWW. Biharalert.inने पूरे तथ्य के साथ दो खबरों के माध्यम से बताया कि कैसे परिवहन विभाग के एक मोटरयान "निरीक्षक " सपंत्ति छुपाने का खेल कर रहे. 12 नवंबर को खबर के पार्ट-1 में बताया गया था कि कैसे मोटरयान निरीक्षक अपनी पत्नी के नाम पर संपत्ति अर्जित कर रहे और सरकार की नजरों से छुपा ले रहे. खबर की हेडलाईन थी, ''खबर वो है जो छुपाई जाती है.. परिवहन विभाग के MVI तो बड़े चालाक निकले ? 'हाऊस वाईफ' के नाम पर अर्जित की अकूत संपत्ति और सरकार से छुपा लिया, पार्ट-1'' दूसरे पार्ट में 15 नवंबर को बताया गया कि ''परिवहन के धनकुबेर MVI की चालाकी पार्ट-2..ब्लैक को व्हाइट करने में 'तेल' का खेल ! 2014-22 तक पत्नी के नाम पर अर्जित की करोड़ों की संपत्ति और छुपा लिया''. आज की तीसरी कड़ी में बताएँगे कि संपत्ति को न सिर्फ पत्नी के नाम पर बल्कि रिश्तेदारों के नाम पर भी अर्जित की गई है. एजेंसी की पड़ताल में यह बात उभर कर सामने आई है. जून 2021 में पत्नी अ#### $$ती (हाऊस वाइफ,पता पटना) और एक और ##### कुमार के नाम पर दिनारा सर्किल में सिंचित भूमि चार टूकड़ा में जमीन कुल रकबा- (25,69,30,27 डिसमिल) यानि 151 डिसमिल जमीन की रजिस्ट्री कराई गई। जानकार बताते हैं कि इस सरकारी सेवक ने सरकार से बचने के लिए प्लानिंग के तहत रिश्तेदारों को भी आगे किया. बताया जाता है कि राजधानी में भी ऐसा ही खेल किया गया है.

ब्लैक को व्हाइट करने में 'तेल' का बड़ा खेल

परिवहन विभाग के एक मोटरयान निरीक्षक बेनकाब होते दिख रहे हैं. हमने पहली किस्त में बताया था कि मोटरयान निरीक्षक ने 2014 से लेकर 2021-22 तक पत्नी के नाम पर आधे दर्जन से अधिक प्लॉट की खरीद की. सभी में पत्नी को हाऊस वाइफ बताया. जमीन निबंधन के कई कागजातों में अपना स्थाई पता रोहतास और दो में राजधानी पटना का शाष्त्रीनगर उल्लेख किया है. जमीन खरीदते समय पत्नी हाऊस वाइफ थीं, लेकिन सरकार के समक्ष संपत्ति का जो ब्योरा दिया जाता है, उसमें वाईफ को बिजनेसमैन करार देकर एक भी संपत्ति की जानकारी साझा नहीं की है. जबकि पत्नी के नाम पर अर्जित संपत्ति को साझा करना है. अब आइए पूरे खेल पर.... दरअसल, इस एमवीआई ने पत्नी के नाम पर तो अकूत संपत्ति अर्जित कर ली, उसे सार्वजनिक कैसे करेंगे ? जानकारी साझा करने पर हिसाब भी तो देना पड़ेगा, आखिर इतना पैसा आया कहां से ? लिहाजा, सरकार को जानकारी ही नहीं दी, बता दिया कि पत्नी बिजनेस करती हैं. अब बिजनेस की भी तहकीकात शुरू हो गई है. पड़ताल करने पर पता चला है कि यहां तो तेल का खेल चल रहा है. तेल से ही अवैध कमाई को ब्लैक से व्हाइट किया जा रहा है. सूत्र बताते हैं कि कुछ समय पहले परिवहन विभाग के उक्त एमवीआई ने राजधानी में पत्नी के नाम पर तेल का मील लगाया है. मील से सरसो की पेराई की जा रही है, पेराई से तेल के साथ-साथ धन भी गिर रहा है. इस फार्मूले के तहत मोटरयान निरीक्षक के काले धन को उजला किया जा रहा है. खुद समझ सकते हैं..तेल मील से इतनी कमाई संभव नहीं जो हर साल संपत्ति अर्जित की जा सके.

खबर वही है जो छुपाई जाती है...

परिवहन विभाग के मोटरयान निरीक्षक की पोल खुलते हुए दिख रही है. संपत्ति अर्जित करना गलत नहीं, लेकिन सरकार की आंख में धूल झोककर संपत्ति बनाना, सरकारी सेवा में रहने के दौरान अवैध तरीके से संपत्ति बनाना अपराध है. सरकार की जांच एजेंसियां समय-समय पर ऐसे धनकुबेरों के खिलाफ कार्रवाई करती हैं. इस धनकुबेर मोटर निरीक्षक की संपत्ति का हिसाब-किताब जान लीजिए. पत्नी जब हाऊस वाइफ थीं, उस समय की अर्जित संपत्ति को भी इन्होंने सरकार के समक्ष सार्वजनिक नहीं किया है. यह गंभीर सवाल है... जब पत्नी हाऊस वाईफ हैं...आपने ही सरकार(निबंधन विभाग) को बताया है, तब संपत्ति के ब्योरा में उल्लेख क्यों नहीं किया ? इससे इस सरकारी सेवक की मंशा गलत साबित होती हुई प्रतीत हो रही है. ऐसा लगा रहा कि अवैध तरीके से संपत्ति अर्जित की गई है.

मोटर निरीक्षक की पत्नी हाऊस वाइफ हैं...और संपत्ति की खरीद धड़ाधड़ हो रही

NOV 2014 की बात कर लेते हैं. परिवहन विभाग के इस इंस्पेक्टर ने पत्नी अ#### $$ती (हाऊस वाइफ) के नाम पर रोहतास जिले के नोखा में 8 डिसमिल जमीन, वैल्यू लगभग 17 लाख रू से अधिक, लैंड टाइप- डेवलपिंग. पत्नी का एड्रेस है.. जिला रोहतास.

अब आइए...जुलाई 2020 की. नोखा इलाके में सिंचित भूमि 62.50 एकड़,(सरकारी मूल्य- 5 लाख 82 हजार) का निबंधन पत्नी अ#### $$ती (हाऊस वाइफ) के नाम पर किया गया. इस निबंधन पेपर में पता राजधानी पटना(शाष्त्रीनगर) का दिया गया है. अक्टूबर 2011 को पत्नी अ#### $$ती (हाऊस वाईफ) और एक और महिला के नाम पर ज्वाइंट तिलौथू सर्किल में 28 डिसमिल जमीन की रजिस्ट्री कराई गई. सरकारी वैल्यू दिखाय गया... 250000 रू.

जून 2021 को पत्नी अ#### $$ती(हाऊस वाइफ,पता पटना) और एक और ##### कुमार के नाम पर दिनारा सर्किल में सिंचित भूमि चार टूकड़ा में जमीन कुल रकबा- (25,69,30,27 डिसमिल) यानि 151 डिसमिल जमीन की रजिस्ट्री कराई गई। इसके अलावे भी कई प्लॉट हैं, जिसके बारे में आगे उल्लेख करेंगे. बतायेंगे,कि कैसे व्यवसाय के तले सरकारी सेवा से तेल निकाला जा रहा है. परिवहन इंस्पेक्टर ने 2024 में तीन माह पहले भी पत्नी के नाम पर संपत्ति अर्जित की है.

अब बताते हैं आपको, परिवहन विभाग के मोटरयान निरीक्षक वर्तमान में उत्तर बिहार के बड़े शहर में पदस्थापित हैं. कमिश्नरी वाला जिला के साथ-साथ उत्तर बिहार का सबसे छोटा जिला (जो उसी कमिश्नरी में है) का प्रभार दिया गया. वैसे एक और बात बता दें, पिछले साल पोस्टिंग से पहले ये सस्पेंड भी हुए थे, इसके बाद इनका निलंबन तोड़ा गया, पदस्थापन की प्रतीक्षा में रहे, फिर दो जिलों का दायित्व दिया गया. वैसे बता दें, इस मोटरयान निरीक्षक के खिलाफ 2016 में उप्र सीमा से लगे जिला में पोस्टिंग के दौरान गड़बड़ी (aopa) के आरोप में निगरानी ब्यूरो में केस भी दर्ज किया गया था. मामला अभी तक जिंदा ही है.